दर कोई फिक्स नहीं, 100 से 500 रूपये तक जारी है वसूली, जिम्मेदार मौन
मनु शाह की खास रिपोर्ट ।
अनोखी आवाज़। Singrauli samachar उप पंजीयक दफ्तर में भर्रेशाही को बोलबाला है। झण्डा दिवस के नाम पर 100 से लेकर 500 रूपये तक प्रत्येक क्रेताओं से वसूल किया जा रहा है। नानुकूर करने वाले क्रेताओं को साहब खुद दखल देते हुए कानूनी पाठ
पढ़ाना शुरू कर देते हैं। मजबूर होकर लोग राशि वसूल करने वाले दलालों के यहां जमा कर दे रहे हैं।
दरअसल उप पंजीयक दफ्तर में अशोक सिंह परिहार की नवीन पदस्थापना होने के बाद से ही भर्रेशाही मच गयी है। पहली पदस्थापना में इनका जमकर विरोध हुआ था
और नेताओं के हस्तक्षेप के बाद इनका स्थानांतरण हो गया था। कुछ महीने तक दूसरे जिले में काम करते रहे लेकिन सिंगरौली से उनका मोह भंग नहीं हो रहा था। दूसरी बार फिर नेताओं से सांठ-गांठ बैठाकर सिंगरौली में वापस आ गये। वापस आने के बाद दफ्तर में भर्रेशाही इतनी बढ़ गयी है कि प्राइवेट व्यक्ति भूमियों के रजिस्ट्री Singrauli samachar
में दखल दे रहे हैं। कई दूसरे जिले के युवक दफ्तर में पूरा कामकाज निपटा रहे हैं। जबकि इनकी नियुक्ति नहीं हैं। फिर भी उप पंजीयक के चहेते बने हुए हैं। यहां तक आरोप लगाये जा रहे हैं कि इन दिनों झण्डा दिवस के नाम पर क्रेताओं से 100 रूपये से लेकर 500 रूपये तक की वसूली की जा रही है। के्रताओं को यही बताया जाता है कि यह राशि सैनिकों के यहां भेजी जाती है।
यहां वसूल की जाने वाली रकम सैनिकों के यहां कितनी जा रही है इसका भी लेखा-जोखा प्राप्त नहीं हो रही है। किन्तु झण्डा दिवस के आड़ में जमकर वसूली की जा रही है। इधर अब उपपंजीयक की कार्यप्रणाली व पहली सिंगरौली मेें पदस्थापना में किये गये काले कारनामे भी अब धीरे-धीरे उजागर होने लगे हैं। यहां के प्रबुद्ध

नागरिकों ने उप पंजीयक के क्रियाकलापों की जांच कराने व यहां से हटाये जाने की मांग शुरू हो गयी है।